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गाजियाबाद से कानपुर अब सिर्फ़ 5 घंटे में! उत्तर प्रदेश को मिलने वाला है सबसे तेज़ एक्सप्रेसवे का तोहफ़ा

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उत्तर प्रदेश में सफर करने वालों के लिए बड़ी खुशखबरी है। राज्य में जल्द ही एक और हाई-स्पीड एक्सप्रेसवे बनने जा रहा है, जो गाजियाबाद से कानपुर के बीच की दूरी को पहले से कहीं ज्यादा आसान और तेज़ बना देगा। 380 किलोमीटर से ज्यादा लंबे गाजियाबाद-कानपुर एक्सप्रेसवे के शुरू होने के बाद दिल्ली-एनसीआर से लेकर मध्य यूपी तक सफर करना और भी आरामदायक और कम समय वाला हो जाएगा।

अब 8 नहीं, सिर्फ़ 5 घंटे में तय होगी दूरी
अभी जो लोग गाजियाबाद से कानपुर तक यात्रा करते हैं, उन्हें औसतन 6 से 8 घंटे लग जाते हैं। अगर कोई यमुना एक्सप्रेसवे से जाता है, तो लगभग छह घंटे का समय लगता है, जबकि नेशनल हाईवे 9 (NH-9) से जाने पर यह यात्रा आठ घंटे से भी ज़्यादा खिंच जाती है। लेकिन नए एक्सप्रेसवे के बन जाने के बाद यही सफर सिर्फ़ 5 घंटे में पूरा हो सकेगा। मतलब न ट्रैफिक का झंझट और न ही खराब सड़कों की परेशानी।

नौ ज़िलों को जोड़ेगा ये एक्सप्रेसवे
गाजियाबाद-कानपुर एक्सप्रेसवे की सबसे खास बात ये है कि यह राज्य के नौ ज़िलों को सीधे जोड़ देगा। इस एक्सप्रेसवे का उत्तरी गाजियाबाद-हापुड़ हाईवे (NH-9) से जुड़ेगा, जबकि इसका दक्षिणी हिस्सा कानपुर-लखनऊ एक्सप्रेसवे से कनेक्ट होगा। इस रूट के बनने से न सिर्फ गाजियाबाद और कानपुर के बीच की दूरी घटेगी, बल्कि बीच के कई शहरों और कस्बों की कनेक्टिविटी भी जबरदस्त तरीके से सुधरेगी। यानी एक साथ दिल्ली-एनसीआर, अलीगढ़, इटावा, और लखनऊ जैसे बड़े शहरों के बीच आवागमन पहले से कहीं तेज़ और बेहतर होगा।

जेवर एयरपोर्ट और बाकी एक्सप्रेसवे से भी जुड़ेगा
इस प्रोजेक्ट की एक और बड़ी खासियत ये है कि यह जेवर अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे और अन्य बड़े एक्सप्रेसवे से भी जुड़ा रहेगा। हापुड़ से करीब 60 किलोमीटर लंबी कनेक्टिंग रोड बनाई जाएगी, जो इस एक्सप्रेसवे को मेरठ एक्सप्रेसवे और NH-9 से जोड़ेगी। इससे गाजियाबाद से मेरठ, बुलंदशहर, अलीगढ़ और आगे कानपुर तक का सफर बेहद सुविधाजनक हो जाएगा। इस प्रोजेक्ट को लेकर अधिकारियों का कहना है कि इसका असर सिर्फ यात्रियों की सुविधा तक सीमित नहीं रहेगा, बल्कि व्यापार, उद्योग और पर्यटन को भी बड़ा बढ़ावा मिलेगा।

प्रदेश के इंफ्रास्ट्रक्चर को मिलेगा बूस्ट
उत्तर प्रदेश पहले ही यमुना, आगरा-लखनऊ और पूर्वांचल एक्सप्रेसवे जैसी शानदार परियोजनाओं के जरिए देश के टॉप इंफ्रास्ट्रक्चर वाले राज्यों में गिना जाता है। अब गाजियाबाद-कानपुर एक्सप्रेसवे के जुड़ जाने से प्रदेश का रोड नेटवर्क और भी मजबूत हो जाएगा। विशेषज्ञों के मुताबिक, ये नया कॉरिडोर उत्तर प्रदेश की अर्थव्यवस्था को नई रफ़्तार देगा और हजारों लोगों को रोजगार के अवसर भी प्रदान करेगा।

अधिकारियों की प्रतिक्रिया
सरकारी सूत्रों के मुताबिक, “गाजियाबाद-कानपुर एक्सप्रेसवे न सिर्फ़ तेज़ यात्रा का विकल्प देगा, बल्कि यह प्रदेश के परिवहन नेटवर्क में क्रांतिकारी बदलाव लाएगा। इससे लॉजिस्टिक्स, इंडस्ट्रियल डवलपमेंट और लोकल बिजनेस को भी नया जीवन मिलेगा।” साथ ही बताया गया है कि यह एक्सप्रेसवे पर्यावरण के लिहाज से भी टिकाऊ होगा। सड़क किनारे ग्रीन बेल्ट, सोलर लाइटिंग और इलेक्ट्रिक व्हीकल चार्जिंग स्टेशन की भी योजना है।

व्यापारियों और यात्रियों के लिए गेम चेंजर
दिल्ली, नोएडा, अलीगढ़ और कानपुर के बीच रोज़ाना हजारों ट्रक और गाड़ियां चलती हैं। अब इस एक्सप्रेसवे से न सिर्फ समय बचेगा, बल्कि पेट्रोल और डीजल की खपत भी घटेगी। इसके साथ ही औद्योगिक शहरों के बीच सामान की आवाजाही भी और तेज़ हो जाएगी।

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