बरेली हिंसा मामले में बहुत बड़ी कार्रवाई, दो आरोपी एनकाउंटर में दबोचे गए, पुलिस से छीनी गई सरकारी गन भी बरामद
- Shubhangi Pandey
- 01 Oct 2025 06:14:48 PM
उत्तर प्रदेश के बरेली में हाल ही में हुई हिंसा के मामले में पुलिस को बड़ी कामयाबी मिली है। हिंसा में शामिल दो मुख्य आरोपियों इदरीश और इकबाल को पुलिस ने एनकाउंटर के बाद गिरफ्तार कर लिया है। दोनों के पैर में गोली लगी है और फिलहाल उन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया है। दोनों आरोपी शाहजहांपुर जिले के रहने वाले बताए जा रहे हैं और उनका लंबा आपराधिक इतिहास है। पुलिस ने इनके पास से वो सरकारी एंटी रॉयट गन भी बरामद कर ली है जो हिंसा के दौरान छीनी गई थी।
26 सितंबर को भड़की थी हिंसा
बरेली के इस्लामिया इंटर कॉलेज इलाके में 26 सितंबर को अचानक माहौल बिगड़ गया था। भारी भीड़ ने पुलिस टीम पर पथराव किया और गोलियां चलाईं। स्थिति इतनी बेकाबू हो गई थी कि उपद्रवियों ने एसिड की बोतलें तक फेंकीं और एक सिपाही की सरकारी रॉयट गन छीन ली थी। इस घटना के बाद पुलिस ने गंभीर धाराओं में मुकदमा दर्ज किया और लगातार आरोपियों की तलाश में जुटी रही।
मुठभेड़ में पकड़े गए आरोपी
बुधवार सुबह करीब साढ़े सात बजे पुलिस को मुखबिर से सूचना मिली कि हिंसा के दो आरोपी मीरगंज की तरफ जा रहे हैं और उनके पास वो सरकारी रॉयट गन है जिसे बेंचने की फिराक में हैं। सीबीगंज पुलिस ने बंडिया नहर हाईवे पुलिया पर चेकिंग शुरू की। कुछ देर बाद बाइक सवार इदरीश और इकबाल वहां पहुंचे। पुलिस को देखते ही दोनों ने फायरिंग शुरू कर दी और भागने लगे। जवाबी कार्रवाई में पुलिस ने गोली चलाई जिससे दोनों के पैर में गोली लगी और उन्हें मौके पर ही पकड़ लिया गया।
बरामद हुए हथियार और मोबाइल
गिरफ्तारी के बाद पुलिस ने दोनों के पास से दो देसी तमंचे, तीन कारतूस, दो खोखा, वो सरकारी रॉयट गन जो दंगे में छीनी गई थी, एक मोटरसाइकिल और दो मोबाइल फोन बरामद किए। पूछताछ में दोनों ने कबूला कि उन्होंने ही 26 सितंबर को पुलिस पर हमला किया था और उसी दौरान सिपाही की गन छीन ली थी। उनका इरादा इस गन को बेचने का था लेकिन पुलिस ने वक्त रहते उन्हें पकड़ लिया।
आईएमसी नेता नदीम खान से जुड़ा है कनेक्शन
पुलिस पूछताछ में ये भी सामने आया कि दंगे के दौरान इन दोनों को आईएमसी नेता नदीम खान ने बुलाया था। नदीम पहले ही गिरफ्तार कर जेल भेजा जा चुका है। इससे साफ है कि हिंसा में सिर्फ लोकल लोग ही नहीं बल्कि कुछ संगठित अपराधी और राजनीतिक लोग भी शामिल थे।
आरोपियों का आपराधिक रिकॉर्ड है खतरनाक
50 साल का इदरीश उर्फ बोरा शाहजहांपुर के मदनापुर थाना क्षेत्र का रहने वाला है। उस पर चोरी, डकैती, गैंगस्टर एक्ट और आर्म्स एक्ट समेत करीब 20 केस दर्ज हैं। वहीं 48 साल का इकबाल भी शाहजहांपुर के गढ़ी उमौरा का रहने वाला है और उसके खिलाफ 17 आपराधिक मामले चल रहे हैं। दोनों लंबे वक्त से अपराध की दुनिया में सक्रिय रहे हैं।
एसएसपी बोले- कानून तोड़ने वालों को बख्शा नहीं जाएगा
बरेली के एसएसपी अनुराग आर्य ने बताया कि पुलिस लगातार ऐसे अपराधियों के खिलाफ अभियान चला रही है जो दंगे या अशांति फैलाने की कोशिश करते हैं। उन्होंने कहा कि दोनों आरोपी लंबे वक्त से आपराधिक गतिविधियों में शामिल रहे हैं और अब जांच में ये भी देखा जा रहा है कि इस हिंसा में और कौन-कौन लोग शामिल थे। उन्होंने साफ किया कि कोई भी निर्दोष व्यक्ति परेशान नहीं होगा लेकिन दोषियों को किसी भी हाल में बख्शा नहीं जाएगा।
पुलिस अधिकारियों का मानना है कि अगर समय पर कार्रवाई न होती तो ये आरोपी रायट गन बेचकर उसे किसी बड़ी वारदात में इस्तेमाल करवा सकते थे। पुलिस टीम में शामिल सीबीगंज थाना प्रभारी सुरेंद्र सिंह, चौकी प्रभारी सौरभ यादव और उपनिरीक्षक विपिन तोमर समेत कई पुलिसकर्मियों ने इस ऑपरेशन को अंजाम दिया।
बता दें कि इन दो शातिर अपराधियों की गिरफ्तारी से न सिर्फ हिंसा की कड़ी को समझने में मदद मिली है, बल्कि ये भी साफ हो गया है कि हिंसा के पीछे एक संगठित साजिश थी। अब सवाल ये है कि आगे और कौन-कौन इस साजिश में शामिल निकलता है। फिलहाल पुलिस की जांच जारी है और बरेली में माहौल पूरी तरह शांत है।
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