शाहबानो केस पर बनी ‘हक’ फिल्म पर विवाद, मुस्लिम धर्मगुरु बोले- मुस्लिम महिलाएं न देखें ये फिल्म
- Shubhangi Pandey
- 05 Nov 2025 08:53:18 PM
शाहबानो केस पर आधारित फिल्म ‘हक’ रिलीज के साथ ही चर्चा में आ गई है। इस फिल्म में इमरान हाशमी और यामी गौतम मुख्य भूमिका में हैं। फिल्म तीन तलाक और मुस्लिम महिलाओं के अधिकारों पर केंद्रित है और इसे जिग्ना बोरा की किताब बानो-भारत की बेटी से प्रेरित बताया गया है। कहानी समाज में महिलाओं की स्थिति और न्याय की तलाश को एक नए नजरिए से दिखाती है।
मौलाना शहाबुद्दीन रजवी का बयान सुर्खियों में
आल इंडिया मुस्लिम जमात के राष्ट्रीय अध्यक्ष मौलाना मुफ्ती शहाबुद्दीन रजवी बरेलवी ने ‘हक’ फिल्म पर अपनी राय जाहिर करते हुए कहा कि फिल्म इंडस्ट्री में अब धार्मिक और सामाजिक मुद्दों को विवाद पैदा करने के लिए इस्तेमाल किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि इस फिल्म में तीन तलाक और शाहबानो केस जैसे संवेदनशील मुद्दों को गलत ढंग से पेश किया गया है और इसे हिंदू-मुस्लिम कोण देकर प्रचारित किया जा रहा है।
“मुस्लिम महिलाओं को ये फिल्म नहीं देखनी चाहिए”
मौलाना रजवी ने कहा कि उन्होंने अपनी जिंदगी में कभी कोई फिल्म नहीं देखी और मुस्लिम महिलाओं से भी अपील की कि वो ‘हक’ फिल्म न देखें। उन्होंने कहा कि समुदाय को भावनाओं में बहने के बजाय ऐसे मुद्दों को समझदारी से देखना चाहिए। मौलाना ने आगे कहा कि फिल्में अक्सर समाज में अनावश्यक विवाद और गलतफहमी पैदा कर देती हैं।
प्रधानमंत्री से मुलाकात का जिक्र
मौलाना रजवी ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से अपनी एक पुरानी मुलाकात का उल्लेख करते हुए कहा कि पीएम मोदी ने उनसे कहा था कि अगर मुस्लिम धर्मगुरु समाज में सही मार्गदर्शन देते तो तीन तलाक पर कानून लाने की जरूरत नहीं पड़ती। उन्होंने कहा कि सरकार ने मुस्लिम महिलाओं के हित में तीन तलाक कानून बनाया है और इसे राजनीतिक रंग देना सही नहीं है।
सोशल मीडिया पर मिला मिला-जुला रिस्पॉन्स
‘हक’ फिल्म को लेकर सोशल मीडिया पर बहस तेज हो गई है। कुछ लोग इसे महिलाओं की आवाज उठाने वाली फिल्म बता रहे हैं तो कुछ का कहना है कि ये एकपक्षीय सोच को बढ़ावा देती है। फिल्म ने जहां लोगों का ध्यान तीन तलाक के मुद्दे पर फिर से केंद्रित कर दिया है, वहीं धर्मगुरुओं के बयान से विवाद और गहराता दिख रहा है।
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